बांदा जनपद में 28 मार्च को क्या हुआ? आइए जानें इन आठ खबरों से


अरबिंद श्रीवास्तव, ब्यूरो चीफ


शासन की मंशानुरूप करायें विकास कार्यः डीएम

  • विकास कार्यो की मासिक समीक्षा बैठक में डीएम ने दिए निर्देश

बांदा। जिलाधिकारी अनुराग पटेल की अध्यक्षता में मासिक विकास कार्यों की समीक्षा बैठक कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में सम्पन्न हुयी जिसमें उन्होंने निर्देश दिये कि शासन की मंशा के अनुरूप कार्य किया जाये। सिंचाई, विद्युत, लोक निर्माण विभाग, सेतु निगम, पंचायती राज विभाग, उद्योग बन्धु, श्रम पोर्टल, खादी ग्रामोद्योग, सी0एल0डी0एस0, जल निगम, यू0पी0सिडगो, स्वास्थ्य विभाग, शिक्षा विभाग, समाज कल्याण विभाग आदि की समीक्षा करते हुए जिलाधिकारी ने सम्बन्धित अधिकारियों को निर्देशित किया कि जितनी भी लाभार्थीपरक योजनायें हैं उनकी प्रगति पूर्ण कर ली जाए और विकास से सम्बन्धित जितने भी कार्य अभी तक बन्द थे उन्हें शीघ्र शुरू करा दिया जाये और जिन विभागों के नये कार्य होने हैं वे स्वीकृतियां प्राप्त कर तत्काल कार्यों को प्रारम्भ करा दें। 

उन्होंने समस्त जिला स्तरीय अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि विधानसभा सामान्य निर्वाचन एवं एम0एल0सी0 चुनावों की अधिसूचना समाप्त हो गयी है इसलिए जो नये निर्माण कार्य होने हैं उन्हें प्रारम्भ करा दिया जाए। सेतु निगम की समीक्षा करते हुए सम्बन्धित विभाग द्वारा बताया गया कि बागै नदी तथा औगासी नदी के पुल के निर्माण कार्य पूर्ण हो चुका है। इसी प्रकार प्रधानमंत्री सम्मान निधि एवं फसल बीमा योजना में सम्बन्धित विभाग द्वारा जानकारी दी गयी कि व्यक्तिगत दावों का सर्वे का कार्य चल रहा है। उन्होंने अंतिम माह मार्च तक पूर्ण करने के निर्देश दिये।

स्वास्थ्य विभाग की समीक्षा करते हुए पाया गया कि हेल्थ वेलनेश सेन्टर 145 स्वीकृत हुए थे जिसकी सूची जिलाधिकारी ने तहसील वाइज मांगी तथा अधूरे कार्यों को 31 मार्च, 2022 तक पूर्ण करने के निर्देश दिये। उन्होंने समस्त सी0एच0सी0 एवं पी0एच0सी0, 102 व 108 एम्बूलेन्स, जननी सुरक्षा योजना, कोविड वैक्सीनेशन टीकाकरण की समीक्षा जिसमें बताया गया कि एम्बूलेन्स सर्क्रिय हैं।

इसी प्रकार पंचायती राज विभाग की समीक्षा के दौरान अपर जिला पंचायत राज अधिकारी को निर्देशित किया कि कायाकल्प योजना के अन्तर्गत गोद लिये गये 202 स्कूलों का भी कायाकल्प कराया जा रहा है तथा पंचायत भवनों का निर्माण कार्य भी प्रगति पर है। ऑपरेशन कायाकल्प  के अन्तर्गत समस्त ग्राम पंचायतों में हैण्डपम्प रीबोर एवं खराब हैण्ड पम्पों को ठीक कराने की जिम्मेदारी खण्ड विकास अधिकारियों की है। यदि किसी भी ग्राम पंचायत में हैण्ड पम्प रीबोर या खराब की स्थित में है तो उन्हें अभियान चलाकर ठीक कराया जाए, क्योंकि पेयजल टॉप प्रायटी है जिसमें कोई समझौता नही होगा। 

इसीलिए सभी लोग सजग रहें और जैसे ही सूचना मिले उन्हें तत्काल ठीक करायें। इसी प्रकार अमृत पेयजल परियोजना के कार्यों में प्रगति लाये जाने के निर्देश दिये। कन्या सुमंगला योजना के अन्तर्गत 10472 आवेदन पत्र प्राप्त हुए थे उन्हें अभियान चलाकर पूर्ण कराया जाए और प्रतिदिन इसकी सूचना जिलाधिकारी को दी जाए। इसी प्रकार 2022-23 में वृक्षारोपण के लक्ष्यों की समीक्षा की जिसमें प्रभागीय वनाधिकारी संजय अग्रवाल द्वारा बताया गया कि अगले वित्तीय वर्ष के लिए 5194454 का लक्ष्य प्राप्त हुआ है। 

जिलाधिकारी ने निर्देश दिये कि माइक्रो प्लानिंग में प्रजातियों को चिन्हित करते हुए वृक्षारोपण की अग्रिम तैयारी की जाए। श्री पटेल ने समस्त विभागों को निर्देशित किया कि वित्तीय वर्ष समाप्त हो रहा है अपनी प्रगति सभी लोग ठीक कर लें। बैठक में मुख्य विकास अधिकारी वेद प्रकाश मौर्य, डिप्टी कलेक्टर सौरभ यादव, डिप्टी कलेक्टर लाल सिंह यादव, जिला विकास अधिकारी रवि किशोर त्रिवेदी, जिला अर्थ एवं संख्याधिकारी संजीव बघेल सहित जिला स्तरीय अधिकारीगण उपस्थित रहे।

निजीकरण के विरोध में बैंकों में रही बैंकों में हड़ताल

  • हड़ताल से करोड़ों का कारोबार हुआ प्रभावित
  • कर्मचारियों ने यूपीबीईयू के बैनर तले किया विरोध प्रदर्शन

बांदा। सोमवार को केंद्र सरकार द्वारा बैंकों के निजीकरण किए जाने के विरोध में यूनाइटेड फोरम आफ बैंक यूनियंस (यूएफओबीयू) के आह्वान पर कुछ बैंकों को छोड़कर जिले की लगभग एक सैकड़ा बैंक शाखाओं और बीमा कर्मचारी हड़ताल पर रहे। दो दिवसीय हड़ताल के पहले दिन लगभग करोड़ों रुपये का लेन-देन प्रभावित हुआ। हड़ताल के चलते विभिन्न कार्यों से आने वाले उपभेक्ताओं को मायूस होकर लौटना पड़ा। बैंक कर्मचारियों ने अलग-अलग बैंक व बीमा शाखाओं में विरोध-प्रदर्शन करते हुए अपने हक की आवाज बुलंद की। 

जानकारी के तहत यूनाइटेड फोरम आफ बैंक यूनियंस ने दो दिवसीय हड़ताल का आह्वान किया है। इसके तहत ही सोमवार को जनपद के सभी राष्ट्रीयकृत बैंकों की लगभग एक सैकड़ा शाखाओं के कर्मचारियों ने सरकार के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन किया। दो दिवसीय हड़ताल के चलते पहले ही दिन लगभग 90 करोड़ रुपये का लेनदेन प्रभावित हुआ। उत्तर प्रदेश बैंक इंप्लाइज यूनियन (यूपीबीईयू) के बैनर तले बैंक कर्मचारियों ने आवास विकास कालोनी स्थित पंजाब नेशनल बैंक शाखा के बाहर विरोध-प्रदर्शन किया। शाखा के बाहर आयोजित धरना-प्रदर्शन को संबोधित करते हुए यूनियन जिला मंत्री रावेंद्र शुक्ला ने कहा कि कर्मचारी लंबे समय से विभिन्न प्रकार की मुश्किलों से जूझ रहे हैं, लेकिन उनकी कोई सुनने वाला नहीं है। 

कर्मचारियों की समस्याओं को दूर करने की बजाए निजीकरण की तरफ सरकार का ध्यान है। कहा कि निजीकरण होने से न सिर्फ कर्मचारियों की नौकरी खतरे में पड़ जाएगी, बल्कि उत्पीड़न भी बढ़ेगा। किसी समस्या का समाधान निजीकरण नहीं बल्कि मुलभूत समस्या को जड़ से समाप्त करना है। सरकार समस्या को जड़ से समाप्त करने की बजाए पूंजीपतियों को लाभ दिलाने के लिए निजीकरण कर रही है। यह देश के लिए काफी चिंताजनक है। राष्ट्रीयकृत बैंकों के अर्जित लाभ से देशवासियों और राष्ट्र निर्माण में उपयोग होता है। जबकि निजी बैंको का लाभ निजी लोगों के लिए होता है। 

बैंकों को निजी हाथों में देने के बाद गरीब लोगों को मिलने वाले आरक्षण का लाभ समाप्त हो जाएगा। इस मौके पर नरेंद्र कश्यप, अंकुर श्रीवास्तव, अरुण कुमार, शशिकांत गुप्ता, गिरिजेश शुक्ला, राघवेंद्र शुक्ला, नवल, राकेश गुप्ता, पराग, कृष्णकांत, राघवेंद्र त्रिपाठी, राघवेंद्र निगम, विक्रम बहादुर सिंह, सलमान, मनोज, हरिनारायण तिवारी, मोहित गुप्ता, बृजेश तिवारी, शैलेश कुमार सिंह, संदीप, जितेंद्र, महेंद्र, सुरेंद्र, श्रवण, सुनील, राजेश, अजय, राहुल, चुन्नूलाल यादव, आकाश, रईस, संजय, सागर, गोविंद, दीपक गुप्ता आदि शामिल रहे।


बीए फ़ाइनल वर्ष के छात्र-छत्राओं को वितरित किए गए स्मार्टफोन

तिंदवारी(बाँदा)। राज्य सरकार द्वारा राज्य के मेधावी छात्रों के लिए चलाई जा रही योजना के अंतर्गत छात्रों को बिना कोई शुल्क लिए ही, मुफ्त में स्मार्टफोन वितरित करने की योगी सरकार की योजना अंतर्गत गुरुदेव हरदेव महाविद्यालय पैलानी में कालेज प्रबंधक डॉ संजय चौरसिया की मौजूदगी में कालेज स्टॉप  द्वारा बीए फाइनल वर्ष के छात्र एवं छात्राओं को स्मार्टफोन वितरित किए गए।जंहा कालेज प्रबन्धन ने 141 छात्र एवं छत्राओं को स्मार्ट फोन वितरण किया गया। इस अवसर पर प्राचार्य डा. ब्रजेश कुमार शर्मा,प्रधान पैलानी  आशीष चौरसिया, प्रधान प्रतिनिधि कुकुआ खास अमर निषाद,असलहा बाबू  संतोष,उमेश चंदेल सोशल मीडिया बाँदा,जयनारायन यादव,सीताशरण द्विवेदी,एवं समस्त स्टाफ सहित भारी संख्या में कालेज के छात्र एवं छात्राएं उपस्थित रहीं।

मास्क ने कोरोना के साथ ही टीबी रोग पर भी लगाई लगाम

  • तीन सालों में घटी क्षय रोगियों की संख्या 
  • क्षय रोगियों के लिए मुफीद है फेस मास्क 

बांदा। क्षय रोग को रोकने में फेस मास्क का उपयोग भी काफी बेहतर रहा है। जिला क्षय रोग विभाग के सर्वेक्षण की रिपोर्ट के अनुसार बीते - वर्षों में टीबी रोगियों में काफी कमी आई है। इसमें फेस मास्क का भी असर है। वर्ष 2019 में 3617 रोगी मिले थे जबकि 2021 में 3194 मरीज मिले थे। वहीं वर्ष 2020 में 2533 टीबी रोगी थे। चेहरे पर लगाने वाला मास्क कितना आवश्यक और लाभकारी है, यह कोरोना संक्रमण काल में साबित हो चुका है। कोविड-19 ने लोगों के सामने मास्क लगाने की मजबूरी उत्पन्न कर दी लेकिन इसी मास्क ने कोरोना से लोगों को राहत भी दी। इसके साथ ही फेस मास्क ने टीबी रोग पर भी आश्चर्यजनक ढंग से प्रहार भी किया है। जिला क्षय रोग विभाग के सर्वेक्षण की रिपोर्ट तो यही कहती है।

स्वास्थ्य विभाग के आंकड़ों के मुताबिक बीते तीन वर्ष में टीबी रोगियों में काफी कमी आई है। जिला क्षय रोग अधिकारी डा. संजय कुमार शैवाल ने बताया कि 2019 में 3617 रोगी मिले थे। 2020 में 2533 लोगों में टीबी रोग पाया गया, उस साल तीन महीने तक लाकडाउन के चलते सर्वेक्षण भी नहीं हो सका था। इसके अलावा भी लोगों का घर से बेवजह बाहर निकलने से परहेज रहा। 2021 में जनवरी से दिसंबर तक 3194 लोगों में ही यह रोग मिला। कहा कि मास्क ने कोविड से तो बचाव किया ही, टीबी पर भी इससे लगाम लगी है। भविष्य में भी इसका फायदा मिलेगा। 

शहर के मर्दननाका के रहने वाले 56 वर्षीय हाजी शकूर (परिवर्तित नाम) का कहना है कि वह टीबी रोग से पीड़ित हैं। संक्रमण के दौरान में उन्होंने नियमति तौर पर मास्क का उपयोग किया। साथ ही परिवार के अन्य लोगों को भी उन्होंने बाहर व घर पर मास्क लगवाया। इससे उनका परिवार पूर तरह सुरक्षित है। इसी तरह आवास विकास के 40 वर्षीय मनोहरलाल (परिवर्तित नाम) बताते हैं कि वह पिछले डेढ़़ साल से क्षय रोग से पीड़ित हैं। अस्पताल में उनका इलाज चल रहा है। दवा के साथ वह लगातार मास्क का इस्तेमाल कर रहे हैं। अब उनका स्वास्थ्य पहले से बेहतर है। घर के अन्य सदस्य भी इस संक्रमण से बचे हुए हैं।

टीबी छींक व सांस से निकलने वाले कीटाणुओं से फैलता है। जिला कार्यक्रम समन्वयक प्रदीप वर्मा ने बताया कि विभाग की ओर से टीबी रोगियों का पता लगाने का अभियान वर्ष भर तक चलता रहा है। अस्पतालों में आने वाले अन्य बीमारियों के रोगियों की जांच में भी टीबी का पता चलता है तो उसका इलाज अलग से होता है। टीबी एक दूसरे में अक्सर छींक और सांस से निकलने वाले कीटाणुओं से ही फैलता है। विभागीय मानक है कि टीबी का एक रोगी 15 अन्य लोगों को संक्रमित कर सकता है। कोविड-19 के चलते मास्क सभी के लिए जरूरी हो गया तो सांसों से फैलने वाले रेग पर लगाम भी लगी।

श्रद्धापूर्वक मनाई गई भक्त शिरोमणि मां कर्मा देवी की जयंती

  • डीएम कालोनी स्थित कार्यालय में हुआ आयोजन

बांदा। सर्व वैश्य चेतना समिति के तत्वावधान में साहू समाज की आराध्य भक्त शिरोमणि मां कर्मा देवी की 1005वीं जयंती डीएम कालोनी गली दो में सर्व वैश्य चेतना समिति कार्यालय में श्रद्धापूर्वक मनाई गई। इस अवसर पर सर्व वैश्य चेतना समिति मंडल अध्यक्ष रामसरन साहू एवं पदाधिकारियों ने मां कर्मा बाई जी की चित्र पर माल्यार्पण वदीप प्रज्ज्वलित कर खिचड़ी का भोग अर्पण किया। राजेंद्र साहु ने कहा कि मां कर्मा और भगवान श्री कृष्ण में निश्चल प्रेम था रू ऐसी मान्यता है कि भक्त शिरोमणि मां कर्मा और भगवान श्री कृष्ण में निश्चल प्रेम था। वह स्वयं भगवान को गोद में बैठाकर खिचड़ी खिलाया करती थीं। जगन्नाथपुरी में यह परंपरा आज भी प्रचलित है। छप्पन भोग के पहले कर्मा मां की खिचड़ी का भोग लगाया जाता है। 


इस अवसर पर सामाजिक बंधुओं ने बढ़चढ़ कर कार्यक्रम में हिस्सा लिया। अंकित साहू, मनोज साहु, विनय कुमार गुप्ता आम आदमी पार्टी नेता सहित अन्य पदाधिकारियों ने हिस्सा लिया। समाज के युवाओं से मां कर्मा के भक्ति के आदर्श को अपनाने की अपील की गई। सभी मे मां कर्मा का जीवन-चरित्र संतानों को स्मरण कराने का संकल्प लिया। अन्य पदाधिकारियों ने अपने अपने विचार व्यक्त किए। रामबरन साहु मंडल अध्यक्ष सर्व वैश्य चेतना समिति, हिमांशु, सर्वेश गुप्ता, वीरेंद्र गुप्ता, रोहित साहु, सूर्या साहु, मौनू, लवलेश, विनोद कुमार, राज गुप्ता आदि मौजूद रहे।

गौराबाबा मंदिर में लगा संतो का जमावड़ा

  • भक्तां ने संतो के पैर छूकर लिया आर्शीवाद

अतर्रा/बांदा। सिद्ध पीठ गौरा बाबा धाम मंदिर मे चौरासी कोस के संतों का जत्था पहुंच गया। संतों का जत्था पहुंचते ही सभी भक्तों ने पहुंचकर पैर छूकर आशीर्वाद लिया तथा जलपान के साथ भंडारे की व्यवस्था कराई। समाजसेवी शिव गोपाल गुप्ता,राकेश गौतम मेजर,शैलेन्द्र सिंह, हरिश्चंद्र गुप्ता,सत्यनारायण चौरिहा, विश्वबंधु मिश्रा, समेत 1 दर्जन से अधिक व्यवस्था में लोग लगे रहे। 

चौरासी कोस के संत इस समय जगह-जगह जाकर अपनी यात्रा को संपूर्ण करने में लगे हुए हैं स  उसी के साथ संतों की यात्रा अतर्रा कस्बे में पहुंची हुई है, जहां पर संतो ने सिद्ध पीठ मंदिर में पहुंचकर एक दिन रुक कर सभी भक्तों को आशीर्वाद प्रदान किया। गौरा बाबा धाम आये हुए 90 वर्षीय संत अखिलेश्वर महाराज ने जानकारी देते हुए बताया 84 कोसी परिक्रमा पर सैकड़ों धार्मिक स्थल आते हैं, जो कि चित्रकूट की सांस्कृतिक सीमाओं में है स धार्मिक स्थलों पर पूजन हवन करने से जीव मात्र को मोक्ष की प्राप्ति होती है।

प्रत्येक वर्ष 465 किलोमीटर यानी 84 कोसी परिक्रमा की शुरुआत फागुन मास की अमावस्या से कामदगिरि परिक्रमा के साथ की जाती है जो 1 माह तक चित्रकूट की चौरासी कोस की परिधि में आने वाले पौराणिक स्थलों से गुजरती है। उसके बाद चित्रकूट स्थित स्वामी मत्स्येंद्रनाथ महाराज का पूजन कर 84 कोसी परिक्रमा का समापन किया जाता है।मंदिर के पुजारी पुरुषोत्तम दास महाराज समेत सभी कर्मचारी उपस्थित रहे।

गौराबाबा धाम में गंदगी के देख संतों ने जताई नाराजगी

  • संतो नगर पालिका को गंदगी के लिए ठहराया जिम्मेदार

अतर्रा/बांदा। सोमवार को चौरासी कोसी परिक्रमा के हजारों संत कस्बे के प्रसिद्ध तीर्थ स्थल गौरा बाबा धाम में पहुंचने पर चारो तरफ गंदगी देखकर आधा प्रसाद को छोड़कर नाराजगी जाहिर किये। संतों का जत्था मंदिर प्रांगण के विशाल मैदान पर पूजन पाठ के बाद प्रसाद ग्रहण के लिए जैसे ही बैठाया गया और संतों की पंक्ति में प्रसाद परोसने का कार्यक्रम चल ही रहा था कि तभी उसी समय राजस्थान के परम पूज्य संत महामंडलेश्वर प्रेमदास महाराज ने परिसर में फैली गंदगी व बदबू देखकर भड़क उठे स प्रसाद ग्रहण कर रहे संतों ने आधा प्रसाद ग्रहण करके बदबू के कारण खड़े होकर मौजूद नगर के लोगों से संतों में प्रश्न खड़े करते हुए नाराजगी जाहिर किया। संत गोविंद दास महाराज ने पालिका प्रशासन की कार्यशैली पर सवाल खड़े करते हुए नगर की गंदगी पर पालिका को जिम्मेदार ठहराया। कांग्रेस नेता सूरज बाजपेई ने अधिशासी अधिकारी नगर पालिका राम सिंह से तत्काल मंदिर में व्याप्त गंदगी व मंदिर के बगल में बने हुए तालाब की गंदगी को हटाने की मांग की है।

बूंद बूंद पानी के लिए तरस रहे ग्रामीण पानी की टंकी बनी शोपीस

बांदा। प्रदेश की योगी सरकार हर घर में जल योजना के तहत कार्य करवा रही है लेकिन पैलानी तहसील के अंतर्गत आने वाले ग्राम पंचायत नरजिता में कई वर्ष पहले पानी की टंकी बनी हुई है लेकिन वहां के ग्रामीणों को पानी पीने को नहीं मिल पाता जिससे ग्रामीण भीषण गर्मी में बूंद बूंद पानी के लिए तरसते हैं। पूरा मामला जसपुरा ब्लॉक के अंतर्गत ग्राम पंचायत नरजिता का हैं। जहां के रहने वाले ग्राम प्रधान शिवदर्शन प्रजापति ने बताया कि गांव में टंकी सन 1983 में बनी थी तब से अभी तक गांव वालों को पीने का पानी नहीं मिला भीषण गर्मी में गांव वालों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है और बूंद बूंद पानी के लिए तरसना पड़ता है कई बार उच्च अधिकारियों को मौखिक रूप से इसकी सूचना भी दे चुके हैं लेकिन आज तक कोई भी अधिकारी टंकी देखने तक नहीं है।

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