स्वतंत्रता दिवस केवल झंडा फहराने का दिन नहीं है - शिवकुमार गुप्ता

  • स्वतंत्रता दिवस पर वीपी ज्ञानस्थली असनवार - चोगड़ा में भव्य समारोह आयोजित

बलिया। इस वर्ष 15 अगस्त को वीपी ज्ञानस्थली असनवार, चोगड़ा में 79 वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर एक भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया। सर्व प्रथम विद्यालय के प्रबंध निदेशक शिवकुमार गुप्ता और जनपद के सुप्रसिद्ध सोशल एक्टिविस्ट एवं पत्रकार जयराम अनुरागी ने संयुक्त रूप से ध्वजारोहण किया और राष्ट्र ध्वज को सलामी दी। समारोह की शुरुआत भारतीय संविधान की प्रस्तावना को दुहराते हुए उसके संकल्प के साथ हुआ। इस अवसर पर अपने सम्बोधन में विद्यालय के प्रबंध निदेशक शिवकुमार गुप्ता ने कहा कि आज जो हम लोग इस तिरंगे के नीचे खड़ा होकर आजादी का जो जश्न मना रहे हैं , इसके लिए देश के ज्ञात - अज्ञात अनगिनत स्वतंत्रता सेनानियों ने अपने प्राणों की आहुति दी है तथा अपना सब कुछ न्यौछावर किया है। ये आजादी देश को एक दिन में नहीं मिली है। इसके पीछे दशकों तक संघर्ष , बलिदान और त्याग की लम्बी कहानी है। हमें इस बात का ध्यान रखना होगा कि यह स्वतंत्रता दिवस केवल झंडा फहराने का दिन नहीं है , बल्कि यह दिन हमें याद दिलाता है कि कितने संघर्षों और कुर्बानियों के बाद देश को ये  आजादी मिली है। इसलिए हमें अपने देश की एकता, अखंडता और विकास के लिए ईमानदारी और मेहनत से काम करने की जरूरत है , ताकि इस देश को और उच्चाइयों तक ले जाया जा सके।

जनपद के सुप्रसिद्ध समावेश फेलो सोशल एक्टिविस्ट एवं पत्रकार जयराम अनुरागी ने अपने सम्बोधन में कहा कि स्वतंत्रता दिवस भारतीय लोकतंत्र का बहुत बड़ा पर्व है। यह पर्व हमें स्वतंत्रता के महत्व और देश के प्रति अपनी जिम्मेदारियों को समझने का अवसर देता है। यह केवल सिर्फ आजादी का सालगिरह मनाने का दिन नहीं है। बल्कि यह दिन इस पर गर्व करने का है कि हम सभी आजाद देश के आजाद नागरिक हैं और हर भारतीय नागरिक को पूरी आजादी के साथ जीवन जीने का अधिकार है। इसीलिए भारतीय संविधान ने हर नागरिक को समान अधिकार दिया है, जिसमें संविधान में नौ मूल्यों पर विशेष जोर दिया गया है ताकि हम सभी लोग उसे अपने जीवन और कार्य क्षेत्र में उतार कर एक समतामूलक समाज की स्थापना कर सके। जब हम लोग ऐसा करने में वास्तव में सफल हो जायेंगे तो उसी दिन देश के हर एक नागरिक को वास्तविक आजादी मिल जायेंगी, जिसका सपना देश के संविधान निर्माताओं और शहीदों ने देखा था।

इस अवसर पर विद्यालय के छात्र-छात्राओं  द्वारा विभिन्न सांस्कृतिक कार्यक्रमों का आयोजन किया गया, जिसमें देशभक्ति गीतों, नृत्य और नाटक प्रस्तुत किए गए। विद्यार्थियों ने स्वतंत्रता संग्राम की वीर गाथाओं को जीवंत रूप से मंच पर प्रस्तुत किया, जिसे दर्शकों ने खुब सराहा। इस कार्यक्रम में विशेष योगदान देने वालों में विद्यालय की प्रधानाचार्या श्रीमती कुसुम सिंह,  निशा पाण्डेय, अमन सिंह, सचिन भारती,  अरुण चौरसिया, गुड्डू चौहान, अंजली सिंह, खुशी वर्मा, खुश्बू, अंजली, हारुन अली, अमित आनंद, उपेन्द्र गिल, अंकिता सिंह, मानषी गिरि, रंजना, अन्नू यादव एवं सुनील कुमार यादव आदि का प्रमुख योगदान रहा।

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