सग़ीर ए खाकसार
बढनी, सिद्धार्थनगर। जागृति स्पोर्टिंग क्लब के पूर्व अध्यक्ष व पूर्व जिला पंचायत सदस्य महबूब आलम खान को बुधवार को बाद नमाज़े असर उनके आबाई गांव अकरहरा के कब्रिस्तान में सुपर्द ए खाक कर दिया गया। जनाज़े की नमाज़ अकरहरा के स्थानीय मदरसे में अदा की गई। नम आंखों से लोगों ने उन्हें विदाई दी।
लॉकडाउन और कोविड महामारी की वजह से आसपास के जिले के लोग जनाज़े में शामिल नहीं हो पाए। बॉर्डर बन्द होने की वजह से उनके नेपाल में चाहने वालों को भी जनाज़े में न शामिल होने से मायूसी हुई। उनके जनाज़े में ज़्यादातर उनके गांव और आसपास के लोग ही शामिल हुए। विभिन्न सामाजिक व खेल संगठनों से जुड़े महबूब खान का बुधवार को सुबह लखनऊ में इलाज के दौरान निधन हो गया था।
महबूब खान अपनी सामजिक सक्रियता व नेक नियती के कारण क्षेत्र में खासे लोक प्रिय थे। आसपास के जिलों बलरामपुर, बहराइच, गोंडा में उनके चाहने वालों की लंबी तादाद रही है। महबूब खान अपने पीछे अपना हरा भरा परिवार छोड़ गए हैं।परिवार में उनके तीन बेटे एक बेटी और पत्नी हैं।उनके बड़े बेटे यासिर महबूब खान के साथ परिवारिक और सामाजिक ज़िम्मेदारियों का निर्वहन करते थे।
उनके जनाज़े में मुख्य रूप से यूपी वालीवाल एसोसिएशन के सचिव मु0 इब्राहिम, तालीमी बेदारी के प्रदेश अध्यक्ष सग़ीर ए खाकसार, सपा नेता महबूब खान, कलीम अहमद, पूर्व ब्लॉक प्रमुख मसूद अहमद उर्फ मससु भाई, डॉ शरफुद्दीन, अब्दुल तौवाब, अब्दुल वहीद आदि लोगों ने शिरकत की।
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