संयुक्त कार्य समूह की बैठक दोनों राष्ट्रों में कौशल एजेंडे को पूरा करने में मददगार साबित होगी : बैरी ओ फ्रेल


कौशल विकास और उद्यमिता मंत्रालय (एमएसडीई) और ऑस्ट्रेलिया उच्चायोग ने व्यावसायिक शिक्षा और प्रशिक्षण में सहयोग के लिए बैठक की। भारत और ऑस्ट्रेलिया में व्यावसायिक शिक्षा और प्रशिक्षण (वीईटी) को बढ़ावा देने के प्रयास के तहत केंद्रीय कौशल विकास और उद्यमिता मंत्री डॉ. महेंद्र नाथ पांडे और ऑस्ट्रेलियाई उच्चायुक्त बैरी ओ' फ्रेल ने आज एक वर्चुअल बैठक में भाग लिया। इस मीटिंग का मकसद दोनों देशों में प्राथमिक उद्योग क्षेत्रों में व्यावसायिक मानकों के विकास को बढ़ावा देने के लिए बीच व्यावसायिक शिक्षा और प्रशिक्षण में सहयोग को बढ़ावा देना है।

यह मीटिंग भारत और ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री की संयुक्त भागीदारी के अनुरूप थी। दोनों देशों के नेताओं के बीच  वर्चुअल समिट में 4 जून, 2020 को आयोजित की गई थी। इससे पहले, इस अवसर पर दोनों देशों के बीच व्यापक रणनीतिक साझेदारी दस्तावेज को लेकर संयुक्त वक्तव्य जारी किया गया था। इसमें कौशल विकास और उद्यमिता मंत्रालय और कौशल शिक्षा विभाग के बीच व्यावसायिक शिक्षा एवं प्रशिक्षण में सहयोग पर समझौता ज्ञापन (एमओयू) शामिल है।

बैठक के दौरान मंत्री ने भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच आगामी संयुक्त कार्य समूह की बैठक में ठोस प्रगति करने पर जोर दिया। कोविड के बाद समय के बारे में बात करते हुए डॉ. पांडे ने भारत की कौशल प्राथमिकताओं पर प्रकाश डाला मसलन स्वास्थ्य क्षेत्र में नौकरी की भूमिका, बेहतर प्रवासन और गतिशीलता शामिल है। उन्होंने कहा कि स्कूल शिक्षा में व्यावसायिक शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए नई शिक्षा नीति के अनुसार भारत के लिए ये उच्च प्राथमिकता वाले क्षेत्र हैं और इस पहलू में ऑस्ट्रेलिया के साथ सहयोग महत्वपूर्ण होगा।

वहीं ऑस्ट्रेलियाई उच्चायुक्त बैरी ओफ्रेल ने कहा कि संयुक्त कार्य समूह की बैठक दोनों राष्ट्रों में कौशल एजेंडे को पूरा करने में मददगार साबित होगी। इस साझेदारी के माध्यम से, हम कौशल विकास में प्राथमिकता वाले क्षेत्रों को को लेकर एक सहयोगात्मक और स्पष्ट योजना सुनिश्चित करेंगे।

इस संयुक्त बैठक में एमएसडीई के सचिव प्रवीण कुमार और अतिरिक्त सचिव जुथिका पाटनकर भी शामिल थे। इसमें संयुक्त कार्यक्रमों के महत्व और सहयोगी कार्यक्रमों के कार्यान्वयन, उद्योग क्षेत्रों जैसे मुख्य बिंदुओं पर ध्यान देने पर जोर था; प्रशिक्षकों और मूल्यांकनकर्ताओं की क्षमता और गुणवत्ता बढ़ाना; इंटर्नशिप और अप्रेंटिसशिप एक्सचेंज और; दोनों देशों में व्यावसायिक शिक्षा और प्रशिक्षण (वीईटी) प्रदाताओं और उद्योग के बीच संबंधों को बढ़ाने पर भी जोर दिया गया।

समझौता ज्ञापन दोनों देशों के बीच संबंधित व्यावसायिक शिक्षा और प्रशिक्षण (वीईटी) प्रणालियों के बीच सूचना और सर्वोत्तम अभ्यास साझा करने के लिए नया रास्ता रास्ता तैयार करेगा। यह समझौता एक साथ काम करने के नए तरीकों और संभावित सहयोग के क्षेत्रों की पहचान करने में मदद करेगा जिसमें उद्योग की व्यस्तता, गुणवत्ता आश्वासन मॉडल और शिक्षण मानकों के पारस्परिक प्राथमिकता वाले क्षेत्र शामिल हैं। 

व्यावसायिक शिक्षा और प्रशिक्षण के क्षेत्र में सहयोग के लिए अब तक कौशल विकास और उद्यमिता मंत्रालय ने जापान, संयुक्त अरब अमीरात, स्वीडन, सऊदी अरब, रूस, फिनलैंड और मोरक्को सहित आठ देशों के साथ समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए हैं। यह साझेदारी दोनों देशों में लाखों व्यावसायिक शिक्षा और प्रशिक्षण को लेकर शिक्षार्थियों के लिए अवसर के नए क्षेत्रों को खोलने, और अंत में सरकार तथा प्रशिक्षण प्रदाताओं के बीच घनिष्ठ संबंधों को बढ़ावा देने में मदद करेगी।


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