SIDDHARTHA NAGAR NEWS : निशुल्क पाठ्य पुस्तकों के विद्यालय तक पहुंचाने के लिए जारी शासनादेश की उड़ रही हैं धज्जियां



राजेश शास्त्री, संवाददाता 

सिद्धार्थनगर जनपद के विकास खन्ड इटवा में परिषदीय विद्यालयों के बच्चों को निशुल्क पाठ्य पुस्तकें विद्यालय तक पहुंचाने के बजाए बीआरसी इटवा से उठाने लिए निर्देशित किया जाता है। विद्यालय तक पहुंचाने के शासनादेश का जिम्मेदार खुलेआम धज्जियां उडा रहे हैं। प्राप्त समाचार के अनुसार परिषदीय विद्यालयों के बच्चों को निशुल्क पाठ्य पुस्तकें व कार्यपुस्तिकाओं को देने के लिए बीआरसी इटवा में रखा गया है। जिसे बीआरसी इटवा अन्तर्गत आने वाले विद्यालयों को पहुंचाना है। परन्तु इन पुस्तकों को विद्यालयों तक न पहुंचाकर अध्यापकों से कहा जाता है कि बीआरसी से अपना पाठ्य पुस्तक का उठान करें। 

सूत्रों बताते हैं कि पाठ्य पुस्तक बीआरसी से उठाने के निर्देश पर कुछ अध्यापकों ने आपत्ति भी उठाई है। उनका कहना है पाठ्य पुस्तक विद्यालय तक पहुंचाया जाना चाहिए। परन्तु यहां खण्ड शिक्षा अधिकारी द्वारा बीआरसी से पुस्तक उठाने के लिए कहा जा रहा है। जिससे ढ़ुलाई के लिए मिले पैसों को डकारा जा सके। पुस्तक विद्यालय तक पहुंचाने के लिए धन दिया गया है। जिसके लिए गत 13 जुलाई 2021 को राज्य परियोजना निदेशक समग्र शिक्षा उत्तर प्रदेश लखनऊ ने प्रदेश के सभी जनपद के बेसिक शिक्षा अधिकारियों को एक पत्र जारी किया था। जिसमें शासनादेश का उल्लेख करते हुए बताया गया कि निशुल्क पाठ्य पुस्तकों का जनपद से विद्यालय तक पहुंचाने के लिए परिवहन व्यय की व्यवस्था की जा रही है। 

पाठ्य पुस्तकों की ढुलाई के लिए अब अवमुक्त धनराशि का इसी वित्तीय वर्ष में अनिवार्य रूप से उपभोग कर लिया जाए। नियमानुसार उपभोग का विवरण तैयार रखा जाए। इस पत्र में आगे कहा गया है कि अवमुक्त किए जा रहे धनराशि का व्यय जनपद से विद्यालय स्तर तक पुस्तकों को पहुंचने के लिए के किया जाए। किसी भी स्तर पर अध्यापकों अथवा अन्य कार्मिक को विद्यालय तक अपने स्रोतों से पाठ्य पुस्तक ले जाने के लिए बाध्य किए जाने का प्रकरण संज्ञान में आने पर उसे अत्यंत गंभीरता से लिया जाएगा और उत्तरदाई के विरुद्ध कठोर कार्रवाई की जाएगी। पत्र में आगे कहा गया है कि उपलब्ध कराई गई धनराशि का उपभोग प्रमाण पत्र निर्धारित प्रारूप पर जिला अधिकारी के अनुमोदन के साथ 30 अगस्त 2021 तक राज्य राज्य परियोजना कार्यालय को उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। 

पत्र के अनुसार पूरे उत्तर प्रदेश के प्रत्येक जनपद को मिलाकर 78412415 रू. दिया गया है। जिसमें सिद्धार्थनगर जनपद को 1545000 रू. दिया है। सूत्रों के अनुसार भाडा बचाने के लिए नाना प्रकार का बहाना बनाकर पुस्तकों को बीआरसी पर रख दिया गया है। पुस्तकों को बीआरसी से उठाने के सम्बंध में खण्ड शिक्षा अधिकारी कुवंर विक्रम पाण्डेय ने बताया कि बजट आता है। जिले पर इसका टेंडर होता है। परन्तु छुट्टी होने के कारण गाडी पुस्तकों को बीआरसी पर गिरा कर चली गयी। अध्यापकों से कहा गया है कि अपने अपने विद्यालयों पर पुस्तक ले जाइए। बजट आने पर किराया दिया जाएगा। इस सम्बंध में बेसिक शिक्षा अधिकारी राजेन्द्र सिंह के मोबाइल नम्बर 9453004121 पर सम्पर्क किया। घंटी बजी परन्तु काल रिसीव नहीं हो पाया।  


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